जगरगुंडा किले को भेदने की तैयारी…30 साल बाद खुला अरनपुर-जगरगुण्डा मार्ग…पहुँचेगी शासन की योजनाएं…
इम्पेक्ट न्यूज़. सुकमा।
बीते कई दशकों से नक्सल किले में तब्दील जगरगुंडा को अब प्रशासन ने भेदने की तैयारी कर ली है। आज 30 वर्षों के बाद जगरगुंडा का रास्ता खुला और दो जिलों के कलेक्टर व एसपी वहाँ बाइक से पहुँचे और लोगो की समस्या सुनी। वही राज्यमार्ग क्रमांक 05 पुनः प्रारंभ होने पर जिला दन्तेवाड़ा- सुकमा-बीजापुर क्षेत्र के सीमावर्ती ग्रामीणों में जागा विकास कार्य की उम्मीद। कमारगुड़ा सुरक्षा कैम्प स्थापित होने पर जनता को मिलने लगे सड़क, पानी, बिजली एवं अन्य मुलभूत सुविधाएं।*
शनिवार को पुलिस महानिरीक्षक, बस्तर रेंज सुंदरराज पी., महानिरीक्षक CRPF डी. प्रकाश, कलेक्टर दन्तेवाड़ा दीपक सोनी, पुलिस अधीक्षक, दन्तेवाड़ा डॉ. अभिषेक पल्लव, कलेक्टर सुकमा विनीत नंदनवार, पुलिस अधीक्षक सुकमा के.एल. ध्रुव, जिला प्रशासन, पुलिस एवं CRPF के वरिष्ठ अधिकारीगण दन्तेवाड़ा-सुकमा के सीमावर्ती गांव का भ्रमण कर ग्रामीणों से रूबरू हुये।
जिला प्रशासन, पुलिस एवं CRPF के अधिकारीगण से चर्चा करते हुये ग्रामीणों द्वारा क्षेत्र की समुचित विकास हेतु सड़क, पुल-पुलिया, आंगनबाड़ी केन्द्र, पेयजल, बिजली एवं अन्य आवश्यक मुलभूत सुविधाओं के संबंध में अपना मांग रखा गया। ग्रामीणों से चर्चा के दौरान वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा उन्हें आश्वस्त किया गया है कि उनके क्षेत्र के सर्वांगिण विकास एवं शांति स्थापित करने हेतु शासन-प्रशासन एवं सुरक्षाबल द्वारा समन्वय के साथ समर्पित होकर विकास कार्य किया जा रहा है।
उल्लेखनीय है कि अरनपुर-जगरगुण्डा के बीच में कमारगुड़ा सुरक्षा कैम्प विगत दिनो में प्रारंभ की गई है। अनेक वर्षों से बंद पड़े राज्यमार्ग क्रं. 05 को ग्रामीणों की आवागमन हेतु पुनः प्रारंभ की गई है। भ्रमण में पहुंचे वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा DRG, STF, CoBRA एवं CRPF के अधिकारी व जवानों को क्षेत्र में कार्य करने के दौरान विशेष सतर्कता एवं आवश्यक सुरक्षा निर्देषों का पालन के साथ-साथ ग्रामीणों की हित में समर्पित होकर कार्य करने हेतु आवश्यक समझाईश दी गई। आज के भ्रमण कार्यक्रम के दौरान ग्रामीणों का स्वास्थ्य परीक्षण कर आवश्यक ईलाज के साथ-साथ बच्चे, बुजुुर्ग एवं महिलाओं को दैनिक उपयोगी सामग्री वितरित की गई।