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छत्तीसगढ़-ओडिशा सीमा पर नक्सलियों का उत्पात… रायपुर-देवभोग हाईवे को किया बंद, पुलिस कैंप खोलने का विरोध…

इम्पैक्ट डेस्क.

छत्तीसगढ़ के गरियाबंद जिले में लंबे समय बाद माओवादियों ने एक बार फिर उत्पात मचाया है। जिले के आदिवासी ब्लॉक मैनपुर इलाके में नक्सलियों ने रायपुर-देवभोग मार्ग को 3 जगहों पर बाधित कर दिया। नक्सलियों ने पेड़ काटकर रायपुर-देवभोग नेशनल हाईवे नंबर 130 को बंद किया था। माओवादियों ने पुलिस कैंप खोलने का विरोध करते हुए बैनर लगाए हैं। माओवादियों की ओडिशा राज्य कमेटी ने पर्चे फेंके हैं। घटना के कुछ घंटे पहले रायपुर आईजी ओपी पाल, एसपी जेआर ठाकुर सहित पुलिस अधिकारियों ने नक्सल प्रभावित बिंद्रानवागढ़, कुल्हाड़ीघाट कैंप, शोभा इंदागांव, पायलीखंड, अमलीपद व देवभोग थानों का दौरा किया था। 

मिली जानकारी के मुताबिक नक्सलियों ने शुक्रवार की देर रात रायपुर-देवभोग नेशनल हाईवे को बंद किया था। माओवादियों ने मैनपुर क्षेत्र के 15 किलोमीटर के दायरे में 3 जगहों पर सड़कों को बाधित किया है, जिसके चलते वाहन घंटों फंसे रहे। सूचना पर पहुंची पुलिस ने रास्ता क्लीयर कराया। नक्सलियों ने ब्लॉक मुख्यालय मैनपुर से करीब 12 किमी दूर राजापड़ाव, कोदोमाली और धुरवागुड़ी बुड़गेलटप्पा के बीच पेड़ों को काटकर गिरा दिया था। नक्सलियों ने भारी मात्रा में पर्चे फेंके हैं और पेड़ को गिराकर बैनर भी बांधे दिए थे। नक्सली उत्पात की वजह से वाहन चालकों में दहशत देखने को मिला।  

पर्यटन स्थल व मोबाइल टावर लगाने का विरोध
ओडिशा नक्सल कमेटी की ओर से जारी किए गए इन पर्चों में 20 मई को पूर्वी छत्तीसगढ़ के गरियाबंद, धमतरी, कोंडागांव और महासमुंद जिले में बंद का आह्वान किया गया था। नक्सलियों ने पर्चे में धोबघाट, कुडूपैन, भैंसादानी नया पुलिस कैंप और पुरानी पुलिस कैंप को हटाने, पुल-पुलिया, रोड, मोबाइल टावर, पर्यटन स्थल और नए पुलिस कैंप नहीं खोलने की बात लिखी है। नक्सलियों ने बिजली, पानी, अस्पताल, स्कूल-कॉलेज, सिंचाई के लिए पानी दिए जाने की बात भी पर्चे में लिखी है। नक्सलियों ने खनिज संपदा लूटने वाले साम्राज्यवाद, दलाल व पूंजीपतियों को उखाड़ फेंकने का आह्वान किया है।

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