Madhya Pradesh

पाइप लाइन फूटने से खेतों और घर में घुसा पानी, केले-चने की फसल बर्बाद, 40 फीट ऊपर तक उठा फव्वारा

खरगोन
इंदौर शहर को पेयजल की आपूर्ति के लिए बनी इंदौर जल प्रदाय योजना की पाइप लाइन अचानक फूट गई। लाखों गैलन पानी से खड़ी फसलें खराब हो गई। गिलहरी के कारण बिजली फाल्ट हुई। इससे पाइप लाइन फूटना बताया जा रहा है। किसानों की मानें तो पानी का बहाव इतना तेज था कि इससे करीब 30 से 40 फीट तक पानी का फव्वारा देखने को मिला। पाइप लाइन से निकलने वाले लाखों गैलन पानी आस- पास के खेतों में जा घुसा। इससे खड़ी केले और चने की फसलें पूरी तरह बर्बाद हो गई।

पीएचई आधिकारियों को ग्रामीणों ने लौटाया
लगभग दो- तीन घंटे तक पानी का बहाव होता रहा। खेतों में पानी घुसने से फसलों की बर्बादी से आक्रोशित किसानों ने घटना स्थल पहुंचे पीएचइ विभाग और चीमा टेक कंपनी के अधिकारियों, तकनीकी टीम को घटना स्थल में घुसने नहीं दिया। किसानों के भारी विरोध के बाद अधिकारी मंडलेश्वर स्थित पीएचइ कार्यालय लौट गए। उच्चाधिकारियों को घटना से अवगत कराया।

गिलहरी के कारण बिजली लाइन फाल्ट
घटना स्थल पर पहले पहुंचे एसडीओ डीएस चौहान ने बताया कि पानी रुकने के बाद ही पता चलेगा की कौन सी पाइप लाइन फूटी हैं। यहां से प्रथम चरण, द्वितीय चरण और तीसरे चरण की पाइप लाइन जा रही हैं। पानी रुकने के बाद ही कुछ कहा जा सकता है। जिस स्थान पर पाइप लाइन फूटी है, वह स्थान नर्मदा घाट इंटेक वेल और पुराने फिल्टर स्टेशन के बीच पड़ता है। एसडीओ ने बताया कि गिलहरी के कारण बिजली लाइन फाल्ट हो गई है। इस कारण पंप ट्रीप हो गए और पाइप लाइन फूट गई। इस कारण मुख्य रूप से ग्राम जलूद के चार किसानों की फसलें बर्बाद हुई है।

50 लाख का मुआवजे की मांग
आक्रोशित युवा किसान अक्षय सिंह कुशवाह ने कहा कि बीते साल भी पाइप लाइन के फूटने से मेरी 20 बीघे की पपीते की फसल और 12 बीघा सोयाबीन की फसल बर्बाद हुई थी। जिसका अब तक कोई मुआवजा नहीं मिला। अब केले की फसल बर्बाद होने से मुझे 50 लाख का नुकसान हुआ है। जब तक मुआवजे का ऐलान नहीं होता किसी भी व्यक्ति को यहां घुसने नही दूंगा। लगभग चार बजे राजस्व और उद्यानिकी विभाग की टीम नुकसान का आकलन करने के लिए प्रभावित खेतों में पहुंची। यहां नुकसान का वास्तविक आकलन किया जाएगा। अभी पीएचइ विभाग की टीम को बाहर रखा गया है।

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