पीयूष जैन के बाद समाजवादी इत्र लॉन्च करने वाले पुष्पराज जैन के घर छापा…
इंपेक्ट डेस्क.
कानपुर और कन्नौज में पीयूष जैन के ठिकानों से 194 करोड़ रुपए कैश और 23 किलो सोना बरामद होने के बाद इनकम टैक्स और जीएसटी की टीमों ने अखिलेश यादव के करीबी एमएलसी पुष्पराज उर्फ पम्मी जैन के ठिकानों पर सुबह से रेड की कार्रवाई कर रही है। शुक्रवार की सुबह-सुबह टीमें एमएलसी पुष्पराज जैन के कई ठिकानों पर पहुंची। बताया जा रहा है कि कन्नौज के घर के अलावा पुष्पराज के नोएडा, कानपुर, हाथरस और मुंबई सहित कई ठिकानों पर छापे पड़े हैं।
सुबह सात बजे से डेढ़ सौ अधिकारी अलग-अलग 50 ठिकानों पर छापा मार रहे हैं। छापेमारी में क्या मिला, इसकी जानकारी अभी तक नहीं मिल सकी है। शुरुआती जानकारी में टैक्स चोरी के आरोप में ये छापेमारी करने की बात कही जा रही है। पुष्पराज जैन के अलावा आयकर विभाग की टीम कन्नौज के एक और इत्र कारोबारी मोहम्मद याकूब के यहां भी छापेमारी कर रही है।
इसके पहले पीयूष जैन के यहां पड़े छापों को समाजवादी पार्टी से जोड़ने पर पार्टी नेताओं ने कड़ी आपत्ति की थी। एमएलसी पुष्पराज जैन ने भी कहा था कि उनका पीयूष जैन से कोई लेना-देना नहीं है। बताया जा रहा है कि कन्नौज में पुष्पराज और पीयूष जैन के घर आसपास ही हैं लेकिन पीयूष की गिरफ्तारी के बाद पुष्पराज जैन ने कहा था कि कभी-कभार दुआ-सलाम से ज्यादा उनके बीच कोई सम्बन्ध नहीं है। पीयूष जैन के यहां छापामारी को लेकर समाजवादी पार्टी और भाजपा के बीच पिछले कुछ दिनों से आरोप-प्रत्यारोप का दौर चल रहा था।
असली-नकली पी जैन का विवाद
भाजपा जहां पीयूष के घर मिले भारी भरकम कैश को सपा का बता रही है, वहीं सपा पीयूष जैन को भाजपा का समर्थक बता रही है। सपा अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने यहां तक टिप्पणी की थी कि छापा पुष्पराज जैन के यहां पड़ना था, लेकिन गलती से पीयूष जैन के यहां पड़ गया। उन्होंने कहा था कि वो छापा मारना चाहते थे इत्र वाले के यहां, उसका नाम है पुष्पराज जैन है और वो हमारे एमएलसी हैं। इनका नाम था पीयूष जैन। लगता है डिजिटल इंडिया की गलती हो गई। पुष्पराज जैन की जगह पीयूष जैन आ गए।”