सिलगेर में जिनकी मौंतें होनी थी वो तो हो चुकी… उनके हिस्से में दोनों तरफ से मिलने वाली मौत और अत्याचार की इबारत कब खत्म होगी? इसका जवाब शायद ही किसी के पास हो…
विशेष टिप्प्णी। सुरेश महापात्र। 14 मार्च 2007 की रात की बात है। बीजापुर जिला के रानीबोदली में हुए एक हिंसक कार्रवाई में माओवादियों ने सीएएफ के एक कैंप पर हमला कर 55 जवानों की हत्या की थी। इसमें सीएएफ के 16 जवान और 29 एसपीओ हमले मारे गए थे। यह बस्तर में माओवादियों की अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई थी। यह कोई मुठभेड़ नहीं था। यह साफ तौर पर माओवादियों का एक हिंसक हमला था। जिसमें उन्होंने सुनियोजित तरीके से हमले को अंजाम दिया था। 15 मार्च की अल
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