UPDATE : दो घंटे तक चला एरियल स्ट्राइक, एक पायलेट समेत छह जवानों को लगी गोली… बस्तर के जंगल में माओवादियों पर पहली बार हवाई हमला…
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इम्पेक्ट न्यूज। रायपुर।
इस समय छत्तीसगढ़ में माओवादियों के खिलाफ एक सबसे बड़े अभियान में सीधे हेलिकाप्टर से अटैक की जानकारी बाहर आ रही है। हांलाकि पुष्टि नहीं है पर खबर तो यही है कि करीब दो घंटे तक चलाए गए इस एरियल स्ट्राइक में पायलेट समेत छह जवानों के घायल होने की सूचना है।
यह कार्रवाई दक्षिण बस्तर के सुकमा, बीजापुर जिले के सरहदी तेलंगाना से सटे इलाके में आज दोपहर को की गई। बताया जा रहा है कि करीब दो घंटे तक चौपर से निशानदेही के साथ पामेड़ से सटे इलाके मेटगुड़ा में अटैक किया गया। जवाब में माओवादियों ने चौपर पर गोलियां दागीं। इससे एक चौपर में गोली लगी और पायलेट समेत छह जवान भी घायल हो गए।
बताया जा रहा है इसके बाद इस चौपर को एलमागुंडा में यानी चिंतागुफा और जगरगुंडा के बीच से लक्ष्मीपुरम वाली सड़क पर करीब 15 किलोमीटर दूर कैंप में लैंड किया गया है। इस पूरी जानकारी की पुष्टि अब तक किसी ने आधिकारिक तौर पर नहीं की है।
ग्रेहाउंड और कोबरा के ऑपरेशन में नक्सली लीडर हिडमा की मौत…? हैदराबाद से पुलिस का बयान जारी…?
गृहमंत्री अमित शाह के छत्तीसगढ़ से लौटने के 100 घंटे के भीतर ही बस्तर के धुर नक्सल प्रभावित इलाके में पहली बार एयर स्ट्राइक जैसी खबर बाहर आई है। बताया जा रहा है कि इसके लिए सीआरपीएफ की टीम को ही शामिल किया गया। इस कार्रवाई में कितने चौपर शामिल किए गए और कितने जवानों को शामिल किया गया है। इस बात की जानकारी अब तक कोई देने को तैयार नहीं है।
दोपहर बाद माओवादियों के सबसे बड़े लीडर हिड़मा के एक आपरेशन में मारे जाने की सूचना बाहर आई। इसके बाद से मीडिया में दक्षिण बस्तर के किसी इलाके में किसी बड़ी कार्रवाई को लेकर खबरे चलने लगी। हांलाकि समाचार लिखे जाने तक पुलिस ने किसी भी खबर की पुष्टि नहीं की हैं।
बताया जा रहा है कि माओवादियों के बड़े लीडर की मौजूदगी की पुख्ता सूचना के आधार पर बिना राज्य पुलिस की जानकारी में यकायक यह आपरेशन लांच किया गया। जिसमें सीआरपीएफ और कोबरा के जवानों को शामिल किया गया। यह कार्रवाई बेहद गोपनीय रखी गई। बताया जा रहा है कि इस कार्रवाई में ग्रेहाउंड की मौजूदगी नहीं थी।
सुबह करीब साढ़े 11 बजे चौपर से जवान निकले। इसके बाद निशानदेही के आधार पर निर्धारित इलाके का एरियल सर्वे किया गया। इसके बाद माओवादियों के कैंप को देखने के बाद फायरिंग खोल दी गई। इस पूरे मुव्हमेंट में करीब दो घंटे तक चौपर हवा में रहे। इसके बाद जब चौपर में गोली लगने और पायलेट के घायल होने की सूचना मिली तब कहीं जाकर राज्य पुलिस को इस अभियान की जानकारी मिली।
सूत्रों का कहना है कि यदि चौपर को निशाना नहीं बनाया जाता तो शायद इस पूरे अभियान को गोपनीय ही रखा जाता। यही वजह है कि खबर के फैलने के बाद उसके संबंध में राज्य पुलिस की ओर से सबसे पहली सफाई बस्तर आईजी पी सुंदरराज की ओर से आई। जिसमें उन्होंने साफ किया कि
सूचना/जानकारी
ज्ञात हुआ है कि जिला सुकमा अंतर्गत नक्सल विरोधी अभियान के संबंध में कुछ जानकारियां प्रसारित की जा रही है। तत्सबंध में वर्तमान स्थिति में सुरक्षाबल के सभी बल सदस्य सुरक्षित हैं एवं किसी प्रकार का अप्रिय स्थिति नहीं है। उपरोक्त विषय पर विस्तृत जानकारी जल्द ही पृथक से जारी जी जावेगी।
इसका मतलब साफ है कि बस्तर के जंगल में कुछ बड़ा हुआ है जिसकी सूचना को लेकर अतिरिक्त सतर्कता बरती जा रही है।
CRPF ने कहा हवाई हमला नहीं किया गया…
नक्सली के कैम्प पर हमले और नक्सली कमांडर हिड़मा के मारे जाने की खबर के बीच माओवादियों ने जारी किया प्रेस नोट
सुकमा दक्षिण बस्तर डिवीजन कमेटी के सचिव गंगा ने जारी किया प्रेसनोट
एक बार फिर हवाई बमबारी का लगाया आरोप
दक्षिण बस्तर के पामेड़, किस्टारम सरहदी इलाकों के मड़कनगुड़ा मेट्टागुड़ा, बोट्टेतोंग, साकिलेर, मड़पादुलेड, कन्नेमरका, पोट्टेमंगुम, बोत्तलंका, रासापल्ली, और एर्रापाड़ गांव, जंगल पहाड़ों को निशाना बनाकर ड्रोन, हेलिकॉप्टरों द्वारा तेलंगाना, व छत्तीसगढ़ के पुलिस समन्वय में हवाई बमबारी करने का लगाया आरोप
केन्द्रीय गृहमंत्री अमितशाह के घोषणा कि 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले माओवादी पार्टी को झड़ से मिठांएंगे इसी योजना के अंतर्गत हवाई बमबारी का लगाया आरोप, इस तरह हवाई हमले को लेकर आदिवासी ग्रामीणों में भय का वातावरण बना हुआ है, खेतों में काम करने में डर रहे हैं ग्रामीण. देखिए प्रेस रिलीज़
2023-01-11_SBT-Stmnt_Condemning-the-Arial-Bombing