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कॉन्स्टेबल ने किया कमाल : CRPF के सैन्यकर्मी संतोष ने बनाया जमीन में दबी IED खोजने वाला आरओवी… दंतेवाड़ा में 2010 में हुए माओवादियों के हमले के बाद से आया था जुजून…

इंपैक्ट डेस्क.

केरल के रहने वाले सीआरपीएफ के कॉन्स्टेबल संतोष कुमार ने रिमोट ऑपरेटिव व्हीकल (आरओवी) तैयार किया है, जो 2 फुट तक जमीन के नीचे दबी आईईडी को ढूंढ कर खुदाई करके बाहर निकाल सकता है। साथ ही 100 मीटर तक दूर जाकर निष्क्रिय कर सकता है।

कॉन्स्टेबल संतोष कुमार देश के सबसे बड़े अर्धसैनिक बल में तकनीकी उपकरण विशेषज्ञ हैं। सीआरपीएफ पर दंतेवाड़ा में 2010 में हुए माओवादियों के हमले से उन्हें काफी ठेस पहुंची। इसके बाद उन्होंने अपने साथियों को घातक हमलों से बचाने की ठान ली। इसके लिए संतोष पिछले कई सालों से तकनीक पर काम कर रहे हैं। 

इससे सीआरपीएफ को आतंकी, नक्सलियों, माओवादियों के हमलों का सामना करना और उनसे लड़ने में मदद मिल रही है। इन्हीं तकनीक में रिमोट आपरेटिव व्हीकल भी शामिल है, जो 2 फुट तक जमीन की खुदाई करके आईईडी को बाहर निकाल सकता है। साथ ही इसे 100 मीटर तक दूर जाकर निष्क्रय कर सकता है।

इस तरह के आरओवी सिर्फ सीआरपीएफ के पास हैं और इसे संतोष ने तैयार किया है। संतोष की तकनीक का लोहा पूरी सीआरपीएफ मानती है। तभी उनको दिल्ली में सिर्फ हथियारों को आधुनिक बनाने के काम में लगाया गया है। वह कई तरह की तकनीक सीआपीएफ के लिए तैयार कर रहे हैं। 

कुछ ऐसे आया जुनून
संतोष ने बताया कि 2010 में जब दंतेवाड़ा में माओवादी हमला हुआ तो उनकी बटालियन को वहां तैनात किया गया। तब माओवादियों और नक्सलियों के हमले उनसे बर्दाश्त नहीं होते थे। वह कुछ ऐसे हथियार बनाना चाहते थे, जिससे हमलों का सामना किया जाए और मुंहतोड़ जवाब दिया जाए।

तब उन्होंने मोर्टार से हमला करने को लेकर एक तकनीक तैयार की, जिसकी उच्च स्तर पर काफी सराहना की गई। इसके बाद उन्हें दिल्ली बुलाया गया, क्योंकि आतंकी और नक्सली आईईडी से बहुत ज्यादा हमले करते हैं। उन्होंने एक ऐसा रिमोट आपरेटिव व्हीकल बनाया, जो 2 फुट तक जमीन के अंदर रखी गई आईईडी को ढूंढ सकता है।