गुजरात यूनिवर्सिटी के हॉस्टल पर कुछ लोगों ने धावा बोल दिया, इस मामले में भारतीय विदेश मंत्रालय एक्शन मोड में
नई दिल्ली
गुजरात यूनिवर्सिटी के हॉस्टल पर शनिवार रात कुछ लोगों ने धावा बोल दिया। रिपोर्ट के मुताबिक, छात्रावास की इमारत में नमाज पढ़ने के लिए विभिन्न देशों के छात्रों से मारपीट की। इस दौरान 5 स्टूडेंट्स घायल हुए हैं जिनमें से 2 को अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा है। पुलिस आयुक्त जीएस मलिक ने बताया कि 20 से 25 लोगों के खिलाफ FIR दर्ज की गई है। घटना की जांच के लिए सुरक्षाकर्मियों के 9 दल गठित किए गए हैं। मलिक ने बताया कि घटना की सूचना शनिवार रात करीब 10 बजकर 50 मिनट पर मिली, जब करीब 20-25 लोग गुजरात विश्वविद्यालय के छात्रावास में घुस गए। उन्होंने अफगानिस्तान, उज्बेकिस्तान तथा अन्य देशों के छात्रों के छात्रावास में नमाज पढ़ने पर आपत्ति जताई।
विदेशी छात्रों पर हमले को लेकर भारतीय विदेश मंत्रालय का बयान आया है। इसमें कहा गया कि मिनिस्ट्री गुजरात सरकार के संपर्क में है और इंटरनेशनल स्टूडेंट्स पर हमला करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। गुजरात यूनिवर्सिटी की वाइस चांसलर नीरजा अरुण गुप्ता की भी प्रतिक्रिया आई है। उन्होंने कहा, 'कल रात करीब 10.30 बजे जहां कुछ विदेशी छात्र रहते हैं वहां पर यह घटना घटी है। हमारे यहां करीब 300 विदेशी छात्र हैं। उनमें से 75 छात्र जोकि A ब्लॉक में रहते हैं, जो विदेशी छात्रों को समर्पित है। यहां दो गुटों के बीच झड़प हो गई जिसके बाद मामला बढ़ गया। कुछ विदेशी छात्र घायल हुए हैं। FIR दर्ज कर ली गई है। पुलिस और सरकार ने इस मामले को गंभीरता से लिया है। जांच चल रही है। कुछ वीडियो वायरल हैं और पुलिस ट्रिगर पॉइंट की जांच करने की कोशिश कर रही है।'
ओवैसी ने घटना को लेकर उठाए गंभीर सवाल
हैदराबाद के सांसद और ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) के चीफ असदुद्दीन ओवैसी ने इस घटना की निंदा की है। साथ ही उन्होंने सवाल उठाया कि क्या प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह इसमें हस्तक्षेप करेंगे। ओवैसी ने एक्स पर लिखा, 'यह कितनी शर्म की बात है। आपकी भक्ति और धार्मिक नारे तभी सामने आते हैं जब मुसलमान शांतिपूर्वक अपने धर्म का पालन कर रहे होते हैं। आप मुसलमानों को देखते ही बेवजह क्रोधित हो जाते हैं। यह सामूहिक कट्टरपंथ नहीं तो और क्या है? यह पीएम मोदी और गृहमंत्री अमित शाह का राज्य है। क्या वे इस मामले में कड़ा संदेश भेजने के लिए हस्तक्षेप करेंगे? एस जयशंकर की घरेलू मुस्लिम विरोधी नफरत भारत की सद्भावना को नष्ट कर रही है।'